(नीचे लिखीं लाइनें पढ़ने से पहले
फिल्म तारे जमीन पर के टाइटल गीत
की धुन को कंठस्थ करना जरूरी है)
देखों इन्हें ये हैं आईपीएल की टीमें
बूढ़ों युवाओं का संगम ये टीमें
लाखों करोड़ों का सौदा ये टीमें
क्रिकेट के नाम पर धंधा हैं टीमें
खो न जाए ये क्रिकेट कहीं पर
भज्जी श्रीसंत को थप्पड़ मारे
दोनों एक ही टीम के तारे
और गांगुली भड़के अंपायर पे जा चढ़े
छोटे चियर गर्ल्स के कपड़े
प्रीति के जूनियरों से लफड़े
कोच-प्लेयर-अंपायर सब हैं फंसे पड़े
चली विवादों की लहर है
हुआ आधा अभी सफर है
मोटे पैसों का असर है..
खो न जाए ये क्रिकेट कहीं पर..
-संजय गोस्वामी
Thursday, 8 May 2008
खो न जाए ये क्रिकेट कहीं पर
Posted by Ashish Khandelwal at 4:46 pm
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1 Comment:
Nice Post !
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